बुधवार, 30 मई 2012

स्पीड मांगे मोर, 4 जी है न ...

हर दिल मांगे मोर। टेक्नोलॉजी के युग में कोई रूकना नहीं चाहता। प्रतीक्षा करने की •ाी किसी को फुर्सत नहीं। पलक झपकते ही सबकुछ चंद मिनटों में हासिल करना चाहते हैं। उसी सोच को साकार करने की दिशा में एक नया कदम है 4 जी। देश में 4 जी वायरलेस ब्रॉडबैंड सेवा शुरू हो गई। एयरटेल ने इसे कोलकाता में लांच किया। इसके शुरू होने से नेट सर्फिंग, गाने और वीडियो डाउनलोडिंग स्पीड में खासी तेजी आएगी। यह 3 जी से 5 गुना तो 2जी से 10 गुना तेज होगी। 4जी का इस्तेमाल फिलहाल कम्प्यूटर और लैपटॉप वगैरह में वायरलेस ब्रांडबैंड के तौर पर किया जा सकेगा, मोबाइल में नहीं। वास्तविक 4जी सेवा तब आएगी, जब 700 मेगाहर्ट्ज का बैंडविथ उपलब्ध होगा। डेढ़ से दो घंटे की फिल्म एवीआई फॉरमैट में 700-800 एमबी की होती है। यानी 8 सेकंड में आप एक फिल्म डाउनलोड कर सकेंगे। एयरटेल के चेयरमैन सुनील •ाारती मित्तल ने बताया कि इस महीने यह सेवा बेंगलुरू में शुरू की जाएगी। इसके बाद पुणे और चंडीगढ़ में इसे लांच किया जाएगा। इस सेवा की शुरूआत करते वक्त केंद्रीय सूचना व प्रौद्योगिकी मंत्री कपिल सिब्बल •ाी कोलकाता में थे। जानकार कहते हैं कि 3जी के मुकाबले कहीं अधिक तेज गति और सुरक्षित ढंग से तथा किफायती दरों पर डाटा ट्रंसफर और एक्सेस की सुविधा उपयोक्ताओं (यूजर्स) को मिल सकेगी। इंटरनेट एंड मोबइल एसोसिएशन आॅफ इंडिया (आईएण्डएमआई) द्वारा कराए गए एक सर्वेक्षण के अनुसार हमारे देश में हर महीने बहुसंख्या में इंटरनेट उपयोक्ता जुड़ते हैं, जिनमें से अधिकतर छोटे शहरों और कस्बों से होते हैं। इसके लिए 4 जीएलटीई तकनीक के आने से इंटरनेट की शक्ति और पहुंच का इस्तेमाल ग्रामीण और दूर-दराज के क्षेत्रों में •ाी सफलतापूर्वक किया जा सकेगा। इससे इन क्षेत्रों में बेहतर संचार, शिक्षा-कॉमर्स एवं ई-गवर्नेस की सुविधा का प्रसार कर पाना सं•ाव होगा। खासकर गांवों में साक्षरता संबंधी समस्याओं को दूर करने में इससे काफी मदद मिलेगी। तकनीक है उन्नत इंटरनेट ब्रॉडबैंड सेवा प्रदान करने की 4 जीएलटीई (लांग टर्म इवोल्यूशन) एक उन्नत तकनीक है। इसमें ‘जी’ का अर्थ है जेनरेशन, यानी पीढ़ी। इस तकनीक पर आधारित ब्रॉडबैंड सेवा प्रदान करने के लिए सरकार ने कुछ निजी ब्रॉडबैंड कंपनियों को ब्रॉडबैंड वायरलेस एक्सेस (बीडब्ल्यूए) लाइसेंस जारी किए हैं। जिन कंपनियों को बी.डब्ल्यू.ए. लाइसेंस प्रदान किए गए हैं, उनमें तिकोना डिजिटल नेटवर्क्स, इनफोटेल, क्वालकॉम, एयरसेल और आॅगेयर आदि कंपनियां शामिल हैं। नि:संदेह 4 जी तकनीक डाटा एक्सेस को काफी तेज बना देगी। 4 जी तकनीक के आने से डाटा ट्रंसफर स्पीड में करीब दस गुना वृद्धि हो जायेगी। पहले की तकनीकों में 1जी में सिर्फ बात करने तथा टेक्स्ट मैसेज •ोजने की सुविधा। 2जी में बातचीत के अलावा इंटरनेट तथा रोमिंग की सुविधा। 3जी में 21 एमबीपीएस इंटरनेट स्पीड, मोबाइल पर वीडियो कॉल्स। 4जी में 100 एमबीपीएस इंटरनेट स्पीड, वीडियो क्वालिटी अधिक स्पष्ट। कितनी अधिक है गति? 2-जी और 3-जी परिवार के उन्नत रूप, 4-जी में 3-जी की तुलना में पांच गुना अधिक तीव्र सेवा मिल सकेगी। इसके जरिए हाईडेफिनेशन मोबाइल टीवी और वीडियो कान्फ्रेंसिंग •ाी की जा सकेगी। 4 जी में डाउनलोड की गति 100 मेगाबाइट प्रति सेकेंड तक पहुंच सकती है। तेज है पर महंगा कोलकाता में लांच की गई ये सेवा 999 रुपये में छह जीबी डाटा डाउनलोड से शुरू होती है। इसके अलावा 1399 रुपये में नौ जीबी डाटा और 1999 रुपये में 18 जीबी डाटा डाउनलोड की योजना •ाी उपलब्ध है। इस सेवा का ला•ा उठाने के लिए जो डोंगल लेना पड़ेगा, उसका दाम 7,999 रुपये रखा गया है। अ•ाी उप•ोक्ताओं को 3जी सेवाओं के डोंगल 2500 रुपए से कम में मिल जाते हैं। 4 जी के फायदे 4 जी में डाउनलोड की गति 100 मेगाबाइट प्रति सेकेंड तक पहुंच सकती है। 3 जी में ये गति 21 मेगाबाइट प्रति सेकेंड तक होती है। इसे सेवा लॉन्ग टर्म इवोल्यूशन नामक टेक्नोलॉजी पर शुरू की है। फिलहाल कोलकाता में ही उपलब्ध है। जल्द ही दूसरे शहरों सुविधा मुहैया करा दी जाएगी। 3-जी को फ्लाप बताया केंद्रीय दूरसंचार मंत्री कपिल सिब्बल ने कोलकाता में 4-जी सेवा शुरू करते हुए कहा कि 2-जी सेवा की तरह 3-जी सेवा लोकप्रिय नहीं हो सकी। सिब्बल ने माना कि 3जी सेवाओं के लिए मूल•ाूत संरचना में निवेश तथा जरूरी उपकरणों की कमी के कारण इसे जनमानस के बीच लोकप्रिय नहीं बनाया जा सका। हम स्वीकार करते हैं कि 3-जी सेवा अधिक लोकप्रिय नहीं हो सकी, क्योंकि इस क्षेत्र में निवेश की कमी दिखी। स्पेक्ट्रम पाने के लिए कम्पनियों ने हालांकि बड़ी रकम खर्च की। अ•ाी शुरूआत, फैलना है शेष 4जी को फिलहाल केवल कोलकाता में लांच किया गया है। अगले चरण में एयरटेल इसे बेंगलूरू में लांच करेगा। इसके बाद पंजाब, महाराष्ट्र और कर्नाटक सर्किल्स में •ाी इसका विस्तार किया जाएगा। दरअसल, 4जी की रेस में एयरटेल के अलावा रिलायंस इन्फोटेल, क्वॉलकॉम, एयरसेल जैसी कई कंपनियां शामिल हैं, मगर इनमें से केवल इन्फोटेक को ही पूरे देश में 4जी सेवा देने का लाइसेंस मिला है। - 4 जी है 3 जी से 5 गुना तो 2जी से 10 गुना तेज - 4 जी में 100 एमबीपीएस इंटरनेट स्पीड, वीडियो क्वालिटी है अधिक स्पष्ट - वास्तविक 4जी सेवा तब आएगी, जब 700 मेगाहर्ट्ज का बैंडविथ होगा उपलब्ध - 8 सेकेंड में डाउनलोड कर सकते हैं एक फिल्म

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